ऑस्ट्रेलिया, न्यूजीलैंड से Dairy Product का इंपोर्ट डेयरी किसानों पर पड़ेगा भारी, Dairy Industry ने जताया विरोध

डेयरी टुडे नेटवर्क,
नई दिल्ली, 20 सितंबर 2019,

रीजनल कांप्रिहेंसिव इकोनॉमिक पार्टनरशिप (RCEP) के बाद भारत में ऑस्ट्रेलिया और न्यूजीलैंड जैसे देशों से Dairy Products का आयात खुल जाएगा। इसको लेकर भारत में Dairy Industry से जुड़े लोग बेहद चिंतित हैं। नेशनल डेयरी डेवलेपमेंट बोर्ड (NDDB) और अमूल डेयरी समेत बड़ी डेयरी कंपनियों ने ऑस्ट्रेलिया और न्यूजीलैंड से डेयरी उत्पादों के आयात का विरोध किया है। इनका कहना है कि इससे भारत में डेयरी और पशुपालन से जुड़े किसानों को बहुत नुकसान होगा।

जाहिर है कि ऑस्ट्रेलिया और न्यूजीलैंड जैसे देशों में प्रचुर मात्रा में दूध और दूसरे डेयरी प्रोडक्ट्स का उत्पादन होता है और इससे भारतीय डेयरी उद्योग का कड़ी प्रतिस्पर्धा का सामना करना पड़ेगा। हालांकि केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार ने डेयरी उद्योग को भरोसा दिया है कि वह किसानों के हितों के साथ कोई समझौता नहीं करेगी। आपको बता दें कि इसी मुद्दे को लेकर नेशनल डेयरी डेवलेपमेंट बोर्ड (NDDB) समेत डेयरी उद्योग के एक प्रतिनिधिमंडल ने वाणिज्य मंत्रालय के अधिकारियों के साथ मीटिंग की थी। बैठक में मंत्रालय के अधिकारियों ने भरोसा दिलाया है कि इससे किसानों को किसी तरह का नुकसान नहीं पहुंचेगा।

डेयरी इंडस्ट्री ने जताई चिंता

इस बारे में एनडीडीबी और अमूल समेत दूसरी डेयरी कंपनियों का कहना है कि आयात किए जाने वाले डेयरी उत्पादों की कीमत घरेलू उत्पादों की तुलना में काफी कम है। इसलिए भारत में आयातित डेयरी उत्पादों की भरमार हो जाएगी और इससे दूध की कीमतों में कमी आ सकती है, जिसका असर किसानों पर पड़ेगा। मोदी सरकार का कहना है कि आसियान के 10 सदस्य समेत 16 देशों के साथ प्रस्तावित इस समझौते की बातचीत में भारत सरकार किसानों का पूरा ध्यान रखेगी। आसियान के 10 सदस्यों में ब्रूनेई, इंडोनेशिया, कंबोडिया, मलयेशिया, म्यांमार, सिंगापुर, थाइलैंड, वियेतनाम, लाओस और फिलीपींस शामिल हैं। वहीं छह पार्टनर्स में चीन, जापान, भारत, दक्षिण कोरिया, ऑस्ट्रेलिया और न्यूजीलैंड शामिल हैं।

दुनिया का सबसे बड़ा डेयरी उत्पाद निर्यातक है न्यूजीलैंड

जाहिर है कि न्यूजीलैंड दूध और डेयरी उत्पादों का दुनिया का सबसे बड़ा निर्यातक है। अंतरराष्ट्रीय बाजार में स्किम्ड मिल्क पाउडर का दाम 160 से 180 रुपये प्रति किलो है। लेकिन घरेलू बाजार में इसका दाम ज्यादा है। यहां स्किम्ड मिल्क पाउडर की कीमत 280 से 290 रुपये प्रति किलो है।

डेयरी उत्पादों के आयात से बढ़ेगी किसानों की परेशानी

इस बारे में अमूल की मार्केटिंग करने वाली कंपनी गुजरात मिल्क एंड मार्केटिंग फेडरेशन (जीसीसीएफ) के एमडी आरएस सोढी ने कहा कि न्यूजीलैंड समेत डेयरी आयात को छूट मिलने पर देश में इसकी कीमत घट जाएगी। उनका कहना है कि न्यूजीलैंड के किसानों की पशुपालन लागत भारतीय किसानों के मुकाबले कम है। न्यूजीलैंड के किसानों के पास बड़े चारागाह उपलब्ध हैं। लेकिन भारत में चारे की कीमत पिछले पांच छह महीने में ही 15 रुपये प्रति किलो से बढ़कर 22 रुपये प्रति किलो हो चुकी है।

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