डेयरी टुडे नेटवर्क,
मानसा/नई दिल्ली, 9 सितंबर 2019
डेयरी फार्मिंग का क्षेत्र युवाओं के लिए संभावनाओं से भरा है। देशभर में बड़ी संख्या में युवाओं ने इसे साबित कर दिखाया है। ‘डेयरी टुडे’ की कोशिश ऐसे ही डेयरी के सुल्तानों की सफलता की कहानी दुनिया के सामने लाने की होती है, जिन्होंने अपने दम पर मिसाल पेश की है। आज हम आपके सामने लेकर आए हैं पंजाब के मानसा जिले के रार गांव के 28 साल के प्रगतिशील युवा डेयरी किसान सुखवंत सिंह की सफलता की कहानी।
युवा डेयरी फार्मर सुखवंत रार ने पांच साल पहले पटिलाया से कंप्यूटर साइंस में बीटेक किया था। लेकिन उनका मन सॉफ्टवेयर इंडस्ट्री में नौकरी करने के बजाए अपने गांव में ही कुछ जमीन से जुड़ा कार्य करने का था। इंजीनियरिंग कॉलेज में पढ़ाई के दौरान ही सुखवंत डेयरी फार्मिंग के बिजनेस में काफी दिलचस्पी लेते थे, क्योंकि उनके घर पर परंपरिक तरीके से पशुपालन किया जाता था। इसीलिए पढ़ाई पूरी करने के बाद उन्होंने डेयरी फार्म खोलने का फैसला किया। इसके बाद उन्होंने अपने दोस्तों को डेयरी फार्मों का दौरा किया, पुराने डेयरी फार्मर्स से बातचीत कर जानकारी एकत्र की, गायों और उनकी ब्रीड के बारे में पढ़ा, पंजाब सरकार द्वारा डेयरी फार्मिंग का 15 दिन का कोर्स किया। इतना ही नहीं डेयरी फार्म खोलने से पहले सुखवंत ने पंजाब सरकार के 45 दिन के AI (कृत्रिम गर्भाधान) कोर्स की भी ट्रेनिंग ली।
जब सुखवंत को खुद पर भरोसा हो गया के वि डेयरी फार्मिंग के बिजनेस की बेसिक जानकारी हासिल कर चुके हैं, तब उन्होंने हॉलिस्टियन फ्रीशियन (HF) ब्रीड की दो गायें खरीदीं और Dairy Farm शुरू कर दिया। जैसे-जैसे सुखवंत को पशुपालन और Dairy Business का अनुभव होता गाया, वे अपने फार्म पर गायों की संख्या बढ़ाते गए। आज सुखवंत के डेयरी फार्म पर अच्छी नस्ल की कुल 50 HF गायें हैं। सुखंवत के डेरी फार्म पर सभी गायें हाई यील्ड की हैं। उनके Dairy Farm प्रतिदिन 600 लीटर दूध होता है।
सुखवंत ने अपने Dairy Farm पर गायों के लिए सभी अत्याधुनिक सुविधाओं का इंतजाम किया है। गायों को ठंडा रखने के लिए जहां फॉगर सिस्टम है, शॉवर है, स्प्रिंकलर है, बड़े-बड़े पंखे लगे हैं, शेड है और दूध दुहने के लिए मिल्किंग मशीन का इस्तेमाल किया जाता है। युवा Dairy Farmer सुखवंत बताते हैं कि वे अपनी गायों के देखभाल और उनके खानपान से कभी समझौता नहीं करते हैं। गांव में ही खेतों से जहां हरा चारा लाकर खिलाते हैं, वहीं साइलेज भी खुद बनाकर तैयार करते हैं।
सुखवंत ने बताया कि वे अपनी गायों को होम मिक्स फीड बनाकर खिलाते थे, जिसमें प्रोटीन और एनर्जी का इस्तेमाल किया जाता था। लेकिन इसके बावजूद गायों की सेहत और दूध की मात्रा दुरुस्त नहीं थी। तभी उन्हें हॉलैंड की पशु आहारा कंपनी De Heus के बारे में पता चला। सुखवंत ने बताया कि जब से उन्होंने डी हयूस कंपनी का पशु आहार गायों को खिलाना शुरू किया है उनकी गायों की दुग्ध उत्पादकता बढ़ गई है। डी हयूस के पशुआहार की तारीफ करते हुए सुखवंत कहते हैं, इस कंपनी द्वारा गायों की जरूरत के मुताबिक एनिमल फीड तैयार किया जाता है। De Heus का पशु आहार खिलाने के बाद जहां उनकी गायों पर गर्मी का दबाव कम हुआ है, वहीं उनकी पाचन क्षमता बढ़ी है और दूध में फैट की मात्रा भी 4.0 और एसएनएफ 8.4 हो गया है। डी हयूस के पशु आहार खिलाने से गायें बीमार कम पड़ती हैं। De Heus के पशुआहार की वजह से ही गर्मी के सीजन में अब दुग्ध उत्पादन कम नहीं होता है। सुखवंत हर महीने करीब 1.5 लाख रुपये का पशु आहार अपनी गायों को खिलाते हैं।
पूरे पंजाब में डेयरी फार्मिंग के क्षेत्र में मिसाल कायम करने कंप्यूटर इंजीनियर सुखवंत अभी यहीं नहीं रुकने वाले हैं। उन्होंने बताया कि वे 100 गायों के लिए एक और शेड बनवा रहे हैं और जल्द ही वहां पर गायों को लाकर अपने डेयरी फार्म का विस्तार करेंगे। सुखवंत अपने Dairy Farm पर होने वाले दूध को पंजाब के वेरका को बेच देते हैं और दूध की क्वालिटी अच्छी होने की वजह से उन्हें 33 रुपये प्रतिलीटर का दाम मिलता है। सुखवंत ने बताया कि उन्हें सारा खर्चा निकालकर डेयरी फार्मिंग के बिजनेस से हर साल 20 लाख रुपये की इनकम हो जाती है, यानी वे हर महीने 1.5 लाख रुपये से अधिक की कमाई कर रहे हैं।
डेयरी फार्मिंग के क्षेत्र में किस्मत आजमाने वाले युवाओं को सुखवंत का Success मंत्र है कि वे जब भी Dairy Farm खोलने की सोचें तो उससे पहले उसकी पूरी स्टडी करें, गायों के बारें में जानकारी एकत्र करें, अनुभवी डेयरी फार्मर्स से बातचीत करें। और जब सबकुछ पता कर लें तो पहले सिर्फ 8 से 10 गायों से डेयरी फार्म की शुरुआत करें। शुरुआत से ही शेड अच्छा बनाएं, पशुओं की देखभाल अत्याधुनिक तरीके से करें। सुखवंत के मुताबिक शुरुआत से ही अच्छी नस्ल की गायों या भैसों को खरीदना चाहिए और कोशिश करनी चाहिए कि शुरुआत में जो पशु फार्म पर लाए वे पहली या दूसरी ब्यांत के हों। सुखवंत का कहना है कि महंगा रोये एक बार, सस्ता रोये बार-बार। यानी यदि Dairy Farm में शुरू से ही अच्छी सुविधाएं जुटाएंगे, अच्छी नस्ल के पशु रखेंगे तो फिर भविष्य में किसी परेशानी का सामना नहीं करना पड़ेगा और धीरे-धीरे आप पशुओं की संख्या बढ़ाते चले जाएंगे।
नोट- De Heus का पशु आहार मंगाने के लिए निम्न नंबर पर संपर्क करें-
मोबाइल नंबर- +91 9872444999 और india@deheus.com
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Sir dairy me liye Paisa kaise milega
Pls Sir Dairy ki Puri jankari Leni hai sirMera M. No-7860780116
Mujhe dairy ki Puri jankari Leni he
मुझे डेयरी की फूल जानकारी चाहिए हम जिला लखीमपुर खीरी यू पी मो.9889872109
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गया
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Nice story